पटना में दुर्गापूजा और डांडिया की धूम

सिटी हलचल
Reporting, Bolo Zindagi

बाएं से श्री विजयवाहिनी दुर्गापूजा समिति के अध्यक्ष संतोष 
कुमार एवं ‘बोलो ज़िन्दगी’ के एडिटर राकेश सिंह ‘सोनू’ 

पटना, 27 सितंबर, आज सप्तमी के दिन पूजा पंडालों के पट खुलते ही पंडालों के इर्द-गिर्द माता के दर्शन के लिए शहर में श्रद्धालुओं की भीड़ जुटनी शुरू हो गयी. शहरवासियों को अलग अलग थीम पर आधारित डिजायनर पंडाल दूर से ही आकर्षित कर रहे हैं. एक तरफ गाँधी मैदान, दशहरा महोत्सव में हर दिन चोटी के कलाकारों द्वारा गीत-संगीत के कार्यक्रम आयोजित हो रहे हैं तो दूसरी तरफ शहर की विभिन्न इवेंट कंपनियों द्वारा डांडिया नाइट की भी धूम मची हुई है जिसमे बॉलीवुड से आये कलाकारों की मौजूदगी आकर्षण का केंद्र बन रही है. आइये एक नज़र शहर के भव्य पंडालों पर डाल लेते हैं.

आनंदपुरी (पश्चिम बोरिंग केनाल रोड)-   श्री विजय वाहिनी दुर्गापूजा समिति, आनंदपुरी के अध्यक्ष संतोष कुमार ने ‘बोलो ज़िन्दगी’ को बताया कि ‘यह पूजा समिति 1982 में स्थापित हुई थी और इस बार हमारा 36 वां साल है. हर साल हम कुछ अलग करने की कोशिश करते हैं. पिछले साल हमने पूरे पंडाल में ‘बास्केट ऑफ़ जॉय’ की थीम के साथ टोकरी लगायी थी और उसके पहले छाते लगाकर पंडाल को डेकोरेट किया था और तब वह छाता थीम बहुत सुपरहिट हुआ था. इस बार हमने कोलकाता से 50 हजार पतंगें मंगवाई हैं. 30 हजार पतंगों से पूरे पंडाल को सजाया है और बाकि के 10 हजार पतंग माँ बाप के संग आनेवाले छोटे बच्चों के बीच मुफ्त में बांटें जायेंगे. विशेषकर बच्चों का ख्याल रखते हुए उनके फेवरेट कार्टून डोरेमॉन व स्पाइडर मैन की तस्वीरों वाली पतंगें पंडाल की शोभा बढ़ा रही हैं.’

 श्री विजयवाहिनी दुर्गापूजा समिति, आनंदपुरी की भव्य प्रतिमा 

वहीँ श्री विजय वाहिनी दुर्गापूजा समिति के उपाध्यक्ष आशुतोष ने बताया कि ‘पंडाल की सजावट एवं डिजायन पर काम किया है समिति के जूनियर मेमर्स ने जो अभी स्कूल-कॉलेज में पढ़ते हैं, कई बाहर से छुट्टी लेकर आये हैं. मूर्ति के माध्यम से हम आज देश के किसानो की जो समस्याएं हैं उसका मैसेज दे रहे हैं और हम चाहते हैं कि बच्चे आकर समझें कि किसानों की उन्नत्ती भी उतनी ही जरुरी है जितनी हम मिडिलक्लास वालों की, बिजनेसमैन की उन्नति जरुरी है. मूर्ति बनानेवाले कारीगर कोलकाता के सुपल पाल हैं. 15 साल पहले हमारी समिति पहली समिति थी जिसने प्रसाद में खीर-पूरी, हलवा और खिचड़ी बहुत बड़े स्तर पर भक्तों के बीच बाँटना शुरू किया था. सप्तमी के दिन प्रसाद में खीर-पूरी का वितरण किया जायेगा, अष्टमी के दिन शुद्ध घी का हलवा और नवमी के दिन खिचड़ी का वितरण होगा.’

30 हजार पतंगों से सजा आनंदपुरी का भव्य पंडाल 

श्री विजय वाहिनी दुर्गापूजा समिति के अन्य सदस्य हैं विवेक सिंह, रितेश सिंह, अमन कुमार और हर्षवर्धन. और जूनियर मेंबर्स में हैं आशीष, आनंद, शुभम कृष्णा.  आनंद मनीषवन ने बताया कि ‘मैं और मेरे अन्य साथी विशेष तौर पर पंडाल की डिजायन पर काम करते हैं. इस बार पतंगोंवाले पंडाल की सजावट को लेकर हम पिछले 6 दिनों से सोये नहीं हैं और खुद से ही पंडाल सजाने में लगे हुए थें.’


एक नज़र पटना के अन्य पूजा पंडालों पर

बोरिंग रोड चौराहा– यहाँ के पंडाल में तीन गुम्बद और माखन चोरी करते भगवान श्रीकृष्ण दिख जायेंगे.

श्री कृष्णापुरी – पंडाल का लुक जी.पी.ओ. भवन की तर्ज पर रखा गया है.

डाकबंगला चौराहा – प्रज्वलित दीप के थीम पर पंडाल

गोविंदमित्रा रोड – पर्यावरण संरक्षण का संदश देता बगीचे की शक्ल का पंडाल

मछुआटोली – ओम नमः शिवाय की थीम पर प्रतिमाएं

राजा बाजार – पहाड़नुमा पंडाल पर शेषनाग के ऊपर मुरली बजाते श्री कृष्ण

रुकनपुरा – यहाँ की खासियत देवी दुर्गा की प्रतिमा है जो एक साथ 4  राक्षसों से युद्ध कर रही हैं.

जगदेव पथ चौराहा–  दुर्गा सप्तसती पर आधारित प्रतिमाएं

मीठापुर, गौड़ीयमठ – माँ दुर्गा ड्रैगन रूपी राक्षस का वध कर रही हैं. ढोलक से पंडाल बनाया गया है.

कालीबाड़ी,यारपुर– देवी माँ की 8 फिट की प्रतिमा की आराधना बंगाली पद्वति से की जाएगी.

कंकड़बाग,लोहियानगर – बंगाली समुदाय द्वारा बंगाली पद्वति से देवी पूजा, संध्या आरती के वक़्त नगाड़ा और ढाकी वादन.

About The Author

'Bolo Zindagi' s Founder & Editor Rakesh Singh 'Sonu' is Reporter, Researcher, Poet, Lyricist & Story writer. He is author of three books namely Sixer Lalu Yadav Ke (Comedy Collection), Tumhen Soche Bina Nind Aaye Toh Kaise? (Song, Poem, Shayari Collection) & Ek Juda Sa Ladka (Novel). He worked with Dainik Hindustan, Dainik Jagran, Rashtriya Sahara (Patna), Delhi Press Bhawan Magazines, Bhojpuri City as a freelance reporter & writer. He worked as a Assistant Producer at E24 (Mumbai-Delhi).

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